निधि मिश्रा
1995 में मुम्बादेवी को सम्मानित करने और मराठी जड़ों को अपनाने के लिए बम्बई का नाम बदलकर मुंबई रखा गया। तब से, मुंबई भारत की वित्तीय और मनोरंजन राजधानी के रूप में उभरी है।
2001 में कोलकाता ने अपने बांग्ला धरोहर को दर्शाते हुए अपना नया नाम अपनाया, जबकि अपनी समृद्ध सांस्कृतिक, साहित्यिक और ऐतिहासिक धरोहर को संजोकर रखा हैं।
1996 में चेन्नई का नाम बदलकर उसकी तमिल परंपराओं को सम्मानित किया गया, जिससे उसकी मूल पहचान को पहचान मिली। साथ ही, यह शहर सांस्कृतिक और आर्थिक दृष्टि से एक शक्तिशाली केंद्र के रूप में आगे बढ़ता गया।
2014 में बेंगलुरु का नाम बदलकर उसकी कन्नड़ पहचान को सम्मानित किया गया, जिससे शहर की सांस्कृतिक भावना को उजागर किया गया। इसके साथ ही, यह भारत की तकनीकी राजधानी और नवाचार के केंद्र के रूप में अपनी स्थिति को और मजबूत करता गया।
तमिल शब्द 'नई बस्ती' (New Town) से लिया गया पुडुचेरी का नाम परिवर्तन 2006 में इसके सांस्कृतिक अतीत से जुड़ा हुआ हैं, जबकि इसके फ्रांसीसी उपनिवेशी ठाठ और खूबसूरत समुद्र तट का आकर्षण भी बरकरार रखा गया हैं।
1991 में, शहर का नाम वापस उसके सांस्कृतिक और भाषाई धरोहर को दर्शाने के लिए बदला गया, जो केरल की समृद्ध विरासत को सम्मानित करता है और भगवान अनंत पद्मनाभा के साथ इसके शाश्वत संबंध को श्रद्धांजलि अर्पित करता है।
1974 में हुआ नाम परिवर्तन शहर के ऐतिहासिक आकर्षण को बनाए रखते हुए, इसके गुजराती मूल को सम्मानित किया गया। इसके साथ ही, यह शिक्षा, परंपरा और संस्कृति का एक प्रमुख केंद्र बने रहने के साथ आगे बढ़ता गया।
2018 में हुए नाम परिवर्तन ने शहर के पवित्र संगम को ध्यान में रखते हुए उसकी धार्मिक धरोहर को श्रद्धांजलि अर्पित किया गया। इस कदम ने शहर के गहरे आध्यात्मिक और ऐतिहासिक महत्व को और अधिक मजबूती मिली।
2014 में हुए नाम परिवर्तन ने स्थानीय तुळु उच्चारण के अनुसार मैंगलोर का नाम मेंगलुरु रखा, जिससे शहर की तटीय परंपरा को बनाए रखा गया और उसकी समृद्ध सांस्कृतिक धरोहर को सम्मानित किया गया।